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IPL 2025: दिल्ली कैपिटल्स बनाम गुजरात टाइटंस मैच में DRS विवाद पर कुलदीप यादव का अंपायर से टकराव

IPL 2025: दिल्ली कैपिटल्स बनाम गुजरात टाइटंस मैच में DRS विवाद पर कुलदीप यादव का अंपायर से टकराव

दिल्ली-गुजरात मैच में फिर विवादों में घिरे कुलदीप यादव

आईपीएल 2025 का मुकाबला हो और उसमें गर्मागर्म बहस न हो, ऐसा शायद ही कभी देखा गया हो। 18 मई को अरुण जेटली स्टेडियम में दिल्ली कैपिटल्स के स्पिनर कुलदीप यादव फिर एक बार सुर्खियों में आ गए। गुजरात टाइटंस के खिलाफ हुए इस मैच में डीआरएस (DRS) की अंपायर कॉल ने न सिर्फ मैच का रुख बदल दिया, बल्कि मैदान पर गुस्से और निराशा की झलक भी दिखा दी।

आठवें ओवर में कुलदीप ने गुजरात के ओपनर साई सुदर्शन के खिलाफ जोरदार एलबीडब्ल्यू की अपील की। मैदानी अंपायर की ओर से Not Out का इशारा आया। दिल्ली ने डीआरएस लिया—जहां बॉल ट्रैकिंग साफ बता रही थी कि गेंद लाइन में पिच हुई और सुदर्शन के पैड से सीधा टकराई। लेकिन गेंद का एक हिस्सा स्टंप्स को हल्का सा छू रहा था, जिससे 'अंपायर की कॉल' लागू हुई और फैसला Not Out ही रहा।

बस फिर क्या था, कुलदीप का धैर्य जवाब दे गया। उन्होंने कप्तान अक्षर पटेल को भी फैसले को चुनौती देने के लिए उकसाया और अंपायर के साथ उनकी बातचीत थोड़ी गर्मी में बदल गई। ऐसे व्यवहार पर अब कुलदीप के खिलाफ आचार संहिता के तहत सजा तय मानी जा रही है। आईपीएल में ऐसे वाकये मैच के रोमांच में अलग ही रंग भर देते हैं, लेकिन लीग के सख्त नियम खिलाड़ियों के बर्ताव पर नजर रखते हैं।

दिल्ली की हार, कप्तान का दर्द और IPL में बढ़ती चुनौतियां

मैच की बात करें तो गुजरात टाइटंस की बल्लेबाजी तगड़ी रही। साई सुदर्शन और उनके साथियों ने शुरुआती ओवरों में ही दिल्ली के गेंदबाजों को बुरी तरह से निशाने पर लिया। कुलदीप और मुकेश कुमार जैसे अनुभवी बॉलर भी रनों के बहाव को नहीं रोक सके।

दिल्ली की सीजन इसी असहजता का शिकार रही है—कहीं गेंदबाजी बिखर गई तो कहीं बल्लेबाजी। टीम का मिडिल ऑर्डर बार-बार फेल हो रहा है और ज्यादातर जिम्मेदारी केएल राहुल जैसी बड़ी उम्मीदों पर ही रही, मगर वो भी खास कमाल नहीं दिखा पाए। इसी वजह से टीम का प्रदर्शन लगातार ऊपर-नीचे रहा।

मैच के बाद फ्रेंचाइजी के को-ओनर पार्थ जिंदल ने भी खुले शब्दों में टीम की हार को स्वीकारा और कहा कि सबको खुद से सवाल पूछने चाहिए। कई रिपोर्ट्स में बताया गया कि खिलाड़ियों पर भरोसा कायम न होने की वजह से टीम में संयोजन बार-बार बदलता रहा।

कुलदीप यादव का मौजूदा विवाद ताजा जरूर है, लेकिन सीजन में उनके नाम पर पहले भी एक चर्चा हो चुकी है—जब कोलकाता नाइट राइडर्स के रिंकू सिंह के साथ उनका मस्ती-मजाक सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था। उस पर दिल्ली कैपिटल्स ने खुद मोर्चा संभालते हुए मजाकिया अंदाज में सफाई दी थी। अब मैदान के विवाद के बाद गेंद बोर्ड और अंपायर के पाले में है कि वे कुलदीप के व्यवहार को कैसे देखते हैं।

हर साल आईपीएल अपने नए-नए विवादों और शानदार परफॉर्मेंस के साथ याद रखा जाता है, लेकिन खेलभावना की सीमाएं कई बार खिलाड़ियों के लिए चुनौती बन जाती हैं। अब देखना होगा कि कुलदीप मामले पर क्या फैसला आता है, और दिल्ली की टीम इस नाकामी से कैसे उबरती है।

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