रेमंड के शेयरों में भारी गिरावट का कारण
रेमंड लिमिटेड के शेयरों में गुरुवार को 40% की भारी गिरावट दर्ज की गई, जो कि इसके जीवनशैली व्यवसाय के डीमरजर प्रभावी होने के बाद हुई। यह गिरावट उस समय देखने को मिली जब नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (NSE) पर रेमंड के शेयर 1,906 रुपये पर खुले, जो कि पिछले दिन के 3,156.10 रुपये के बंद स्तर से 39.60% कम थे।
डीमरजर के फायदे और बड़ी योजनाएं
इस डीमरजर के तहत, रेमंड के मौजूदा निवेशकों को हर पांच शेयरों पर चार नए 'रेमंड लाइफस्टाइल' के शेयर प्राप्त होंगे। यह डीमरजर कंपनी की तीन शुद्ध-खेल बिजनेसों को बनाने की बड़ी योजना का हिस्सा है, जिसमें जीवनशैली, रियल एस्टेट और इंजीनियरिंग शामिल हैं। लाइफस्टाइल बिजनेस को अगस्त-सितंबर के आसपास अलग से सूचीबद्ध किया जाएगा।
रेमंड की रियल एस्टेट व्यापार की बात करें तो उसे अगले 15-18 महीनों में डीमर्ज किया जाएगा। इसमें थाने में 40 एकड़ की विरासत भूमि शामिल है, जिसका राजस्व संभावित 25,000 करोड़ रुपये बताया जा रहा है। मौजूदा संयुक्त विकास समझौतों (JDAs) का राजस्व संभावित 7,000 करोड़ रुपये है। रियल एस्टेट व्यापार में 500 करोड़ रुपये नकदी है और अगले दो वर्षों के लिए कोई बड़ा पूंजीगत आवश्यकताएं नहीं हैं। इसके वार्षिक रन रेट के 4,000 करोड़ रुपये तक पहुंचने की संभावना है और इसका स्थिर ईबीआईटीडीए मार्जिन 25% रह सकता है।
उच्च-विकास की क्षमता वाला इंजीनियरिंग बिजनेस
कंपनी की इंजीनियरिंग व्यापार जिसमें एमपीपीएल का अधिग्रहण भी शामिल है, में एयरोस्पेस और रक्षा क्षेत्रों में उच्च-विकास की क्षमता है। एमपीपीएल के राजस्व को 3-4 वर्षों में दोगुना होने की उम्मीद है, और रेमंड इंजीनियरिंग के राजस्व को पांच वर्षों में दोगुना होने की संभावना है। कंपनी 'मेक इन इंडिया' पहल से लाभ उठाने के लिए अच्छी स्थिति में है और बोइंग, एयरबस और कोमैक जैसी प्रमुख एयरोस्पेस कंपनियों को पसंदीदा आपूर्तिकर्ता है।
निवेशकों और बाजार पर प्रभाव
रेमंड के शेयरों में इतनी बड़ी गिरावट ने न केवल निवेशकों को चौंका दिया बल्कि शेयर बाजार में भी हलचल मचा दी। निवेशकों के लिए यह चिंताजनक है, लेकिन विशेषज्ञों का मानना है कि लंबे अवधि के निवेश के लिए रेमंड का यह विभाजन अच्छा साबित हो सकता है। यह साबित हो सकता है कि कंपनी की विभिन्न शाखाओं में कम मूल्यांकन और अधिक विकास की संभावनाएं शामिल हैं।
विभाजित कंपनियों का उनके संबंधित क्षेत्रों में अधिक ध्यान केंद्रित करने की क्षमता उन्हें अधिक प्रतिस्पर्धात्मक बनाती है और इससे उनके विकास की संभावनाएं बढ़ सकती हैं। हालांकि, डीमरजर के प्रारंभिक चरण में निवेशकों को सतर्क रहना चाहिए और बाजार की गतिविधियों पर नजर रखनी चाहिए।
भविष्य की संभावनाएं
रेमंड के जीवनशैली और रियल एस्टेट व्यवसायों का डीमरजर कंपनी के रणनीतिक परिवर्तन का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। यह उन्हें अपने संबंधित क्षेत्रों में अधिक प्रतिस्पर्धात्मक बनने और वृद्धि की संभावनाओं को बढ़ाने का अवसर प्रदान करेगा।
हालांकि, बाजार में इतनी भारी गिरावट निवेशकों के लिए एक चुनौती साबित हो सकती है। लेकिन, जैसा कि विशेषज्ञों का मानना है, लंबी अवधि में यह विभाजन कंपनी के लिए और साथ ही निवेशकों के लिए लाभदायक साबित हो सकता है।
रेमंड लिमिटेड के जीवनशैली, रियल एस्टेट और इंजीनियरिंग व्यवसायों में यह विभाजन शोभनीय परिवर्तन का एक महत्वपूर्ण चरण है। यह कंपनी के विभिन्न व्यवसायों को उनके संबंधित क्षेत्रों में अधिक ध्यान केंद्रित करने और विकास की संभावनाओं को बढ़ाने का अच्छा अवसर प्रदान करेगा।
Akul Saini
जुलाई 12, 2024 AT 14:42डीमर्जर का यह तरीका बिल्कुल सही है - एक एकीकृत कॉर्पोरेट ढांचा जिसमें अलग-अलग बिजनेस मॉडल्स फंसे हुए हैं, वो तो बस वैल्यू को दबा रहा है। रियल एस्टेट का एसेट बेस और इंजीनियरिंग का एयरोस्पेस पोर्टफोलियो दोनों अलग डिस्काउंट रेट्स पर ट्रेड होने चाहिए। रेमंड लाइफस्टाइल के लिए P/E 25-30 तक जा सकता है, जबकि इंजीनियरिंग का 18-20 ही रिजनेबल है। ये स्प्लिट ने जो शॉर्ट-टर्म वॉलाटिलिटी दिखाई, वो बस मार्केट की इम्पेटिवेनेस का रिजल्ट है।
Arvind Singh Chauhan
जुलाई 13, 2024 AT 10:40ये सब बकवास है... जब तक शेयर 3000 रुपये पर था, सब खुश थे, अब जब 1900 पर आ गया, तो लोग डर गए। लेकिन ये तो बस एक रिस्ट्रक्चरिंग है - नए शेयर मिल रहे हैं, नहीं तो खो रहे हैं। जिन्होंने रेमंड में निवेश किया था, उनका कुल पोर्टफोलियो अभी भी बरकरार है, बस अब वो तीन कंपनियों में बंट गया है। बाजार अभी भी बुद्धि से नहीं, भावनाओं से चल रहा है।
AAMITESH BANERJEE
जुलाई 14, 2024 AT 03:50सच बताऊं तो मैंने भी इस डीमर्जर को थोड़ा संदेह से देखा था - लेकिन जब मैंने रियल एस्टेट के लैंड होल्डिंग्स का डिटेल देखा, तो लगा कि ये तो बहुत स्मार्ट गेम है। 40 एकड़ थाने में? और राजस्व 25,000 करोड़? ये तो एक नए एसेट क्लास की शुरुआत है। और एमपीपीएल का एयरोस्पेस बिजनेस? भारत के डिफेंस सेक्टर में इतना स्ट्रॉन्ग पोजीशन वाली कंपनी दुर्लभ है। अगर ये सब अच्छे से मैनेज हो गया, तो अगले 5 साल में रेमंड के तीनों स्पिनऑफ्स अलग-अलग बड़ी कंपनियां बन जाएंगी। बस थोड़ा धैर्य रखना होगा।
Akshat Umrao
जुलाई 14, 2024 AT 22:24ये तो बहुत अच्छा हुआ 😊 अब तीन अलग कंपनियां हो गईं - जीवनशैली, रियल एस्टेट, इंजीनियरिंग। अब हर एक को अपनी जगह पर बढ़ने का मौका मिलेगा। शेयर की गिरावट तो अस्थायी है, लंबे समय में ये जीत जाएगा 💪
Sonu Kumar
जुलाई 15, 2024 AT 04:40क्या आपने कभी सोचा है कि ये सब 'मेक इन इंडिया' का एक बड़ा फेक है? बोइंग, एयरबस - ये नाम लेकर भी लोगों को भ्रमित किया जा रहा है... और फिर एक रियल एस्टेट बिजनेस को इतना बड़ा बनाने की कोशिश? 25,000 करोड़? ये तो एक फेक न्यूमेरिकल है - जिसे शेयर मार्केट में लोग खरीद रहे हैं... बस इतना ही। विश्लेषण तो बहुत बड़ा है... लेकिन वास्तविकता? अभी तक कोई नहीं दिखी।