जब बारिश तेज़ हो या पानी का बहाव ठीक से नहीं निकल पाता, तो हमारे घर‑आंगन, सड़क और खेतों में पानी जमा हो जाता है। इसे हम जलजमाव कहते हैं। जलजमाव सिर्फ असुविधा नहीं, बल्कि स्वास्थ्य, यात्रा और पैसों पर भी असर डालता है। इसलिए आज हम एकदम साधारण भाषा में समझेंगे कि जलजमाव क्यों होता है और इसे कैसे रोका या कम किया जा सकता है।
1. अत्यधिक बरसात – मौसमी बारिश या तूफ़ान के कारण एक ही दिन में बहुत सारा पानी पड़ता है। drainage system नहीं हो पाता, तो पानी जल्दी नहीं निकल पाता।
2. सड़क‑नाली की खराबी – पुरानी नालियों में जाम, अवरोध या टूट‑फूट से पानी सही रूट नहीं ले पाता। इससे पानी इकट्ठा हो कर गलियों में जमा हो जाता है।
3. भूस्खलन और ढहाव – भारी बारिश के बाद मिट्टी के ढहाव से जमीन की सतह बदल जाती है, जिससे पानी के प्राकृतिक मार्ग बंद हो जाते हैं।
4. शहरीकरण – शहरों में खुली जगह कम हो गई है, कंक्रीट बहुत बढ़ गया है। इस वजह से पानी को सोखने की जगह घट गई और जलजमाव की समस्या बढ़ी।
5. ड्रेन के असामान्य रख‑रखाव – कचरा, पुलिसाती या पत्ते ड्रेन में फँस जाने से पानी का प्रवाह रुक जाता है। यही सबसे आम कारणों में से एक है।
• ड्रेन को साफ रखें – घर के सामने या पड़ोस में ड्रेन में जमा कचरे को हफ्ते में एक बार साफ करें। बड़े गंदगी को हटा देने से पानी जल्दी बाहर निकलता है।
• झड़पें और गड्ढे बनवाएं – अगर आपका घर या खेत लगातार जलजमाव से परेशान रहता है, तो थोड़े गड्ढे या झड़पें बनवाकर पानी को जमा करने की जगह बना सकते हैं। इससे पानी धीरे‑धीरे सोख जाता है।
• मिट्टी की दरारें भरें – बारिश से पहले अगर जमीन में दरारें दिखें तो उन्हें रेत या कंक्रीट से भर दें। इससे पानी की रुकावट नहीं होगी।
• घर की ऊँचाई बढ़ाएं – निचली मंजिलों में जलजमाव अक्सर होता है। अगर संभव हो तो फर्श को थोड़ा उठाएं या प्लास्टिक शीट से नीचे की सतह को वाटरप्रूफ़ करें।
• इमरजेंसी किट रखें – अगर अचानक जलजमाव हो जाए, तो टॉर्च, बैटरी, फर्स्ट‑एड, और सूखे कपड़े तैयार रखें। इससे आप तुरंत काम कर पाएंगे।
• स्थानीय प्रशासन से संपर्क करें – यदि गली या मोहल्ले में ड्रेन जाम है, तो तुरंत नगर निगम या जल निगम को रिपोर्ट करें। अक्सर वे जल्दी समाधान कर देते हैं।
उपर्युक्त टिप्स अपनाने से जलजमाव की परेशानी काफी हद तक घटाई जा सकती है। अभी के मौसम में कई शहरों में जलजमाव की खबरें आती रहती हैं, इसलिए सतर्क रहना ही बेहतर है। जब भी बारिश का अंदाज़ा लगे, तो अपने आस‑पास की नालियों, गड्ढों और ड्रेनों की जाँच कर लें। छोटी‑छोटी सावधानियों से बड़ी समस्या को रोका जा सकता है।
समाप्त करने से पहले याद रखें—जलजमाव एक प्राकृतिक घटना है, लेकिन हमें इसे समझ कर और सही कदम उठाकर अपने जीवन को सुरक्षित रखना चाहिए। अगर आप इन आसान तरीकों को रोज़मर्रा की जिंदगी में शामिल करेंगे, तो बारिश के मौसम में भी आप तनाव‑मुक्त रहेंगे।
दिल्ली और एनसीआर में 28 जून को भारी बारिश के कारण जलजमाव, यातायात जाम और दिल्ली एयरपोर्ट के टर्मिनल 1 की छत गिरने जैसी घटनाएँ हुईं। इस हादसे में एक व्यक्ति की मौत हो गई और छह अन्य घायल हो गए। इससे प्रभावित इलाकों में मिंटो ब्रिज और मथुरा रोड भी शामिल हैं।
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